Showing posts with label साजिद हादयात. Show all posts
Showing posts with label साजिद हादयात. Show all posts

Thursday, June 4, 2009

sajid hadayat ki shayyiri

तेरा मुझ पे इख्तियार बाकी है
देखो कैसा हिसार बाकी है
कोई चला गया फिर भी
दिल रस्ते पे गुबार बाकी है
ये ख्वाब है या एहद कोई
जिसका मुझ पे बार बाकी है
आँख में धुआं सा रहता है
आग की कोई पुकार बाकी है
जिंदगी की कड़ी प्यास में 'साजिद'
और किस का इन्तिज़ार बाकी है

wel come